अपने जानने वालों में ये पोस्ट शेयर करें ...
Table of Contents
चंद्रमा की आरती- Chandra 108 names in Hindi Chandra mantra
इस पोस्ट में आप पढेंगे चंद्रमा की आरती-चंद्रमा के मंत्र (Chandra Aarti – Chandra mantra) और चंद्रमा के 108 नाम (Chandra 108 names in hindi ) का हिन्दू धर्म में बहुत महत्व है क्योंकि चन्द्रमा देवता हिंदू धर्म के प्रमुख देवता हैं, चन्द्रमा को जल तत्व का देवता माना गया है
चन्द्रमा के अराध्य देवता भगवान शिव को माना जाता है और इसीलिए भगवान् शिव ने उन्हें अपने शीश पर धारण किया हुआ है ।
चंद्रमा को सोमवार को पूजा जाता है और इनसे संबंधित कोई भी पूजन कार्य सोमवार को ही करनी चाहिए । जो चन्द्रमा का पूजन करते हैं और साथ ही कम से कम सोमवार के दिन चन्द्रमा की आरती करते हैं उन लोगों से भगवान शिव शीघ्र प्रसन्न हो जाते हैं और उनके जीवन के सभी कष्ट दूर करते हैं क्योंकि संसार में शिव से बड़ा विष धारण करने वाला कोई नही है ।
चंद्रमा की आरती – Chandra Aarti
ॐ जय सोम देवा, स्वामी जय सोम देवा |
दुःख हरता सुख करता, जय आनन्दकारी ||
रजत सिंहासन राजत, ज्योति तेरी न्यारी |
दीन दयाल दयानिधि, भव बन्धन हारी ||
जो कोई आरती तेरी, प्रेम सहित गावे |
सकल मनोरथ दायक, निर्गुण सुखराशि ||
योगीजन हृदय में, तेरा ध्यान धरें |
ब्रह्मा विष्णु सदाशिव, सन्त करें सेवा |
वेद पुराण बखानत, भय पातक हारी |
प्रेमभाव से पूजें, सब जग के नारी ||
शरणागत प्रतिपालक, भक्तन हितकारी |
धन सम्पत्ति और वैभव, सहजे सो पावे ||
विश्व चराचर पालक, ईश्वर अविनाशी |
सब जग के नर नारी, पूजा पाठ करें ||
चंद्रमा के मंत्र Chandra mantra
चंद्रमा का वैदिक मंत्र :
ओम इमं देवा असपत्न सुवध्वं महते क्षत्राय महते ज्यैष्ठयाय महते जानराज्यायेनद्रस्येन्द्रियाय।
चन्द्रमा का तांत्रिक मंत्र :
ॐ श्रां श्रीं श्रौं स: चन्द्रमसे नम:।
ॐ ऐं क्लीं सोमाय नम:।
ॐ श्रीं श्रीं चन्द्रमसे नम: ।
चन्द्रमा का सामान्य मंत्र :
ॐ सों सोमाय नम:।
चन्द्रमा का गायत्री मंत्र :
ॐ भूर्भुव: स्व: अमृतांगाय विदमहे कलारूपाय धीमहि तन्नो सोमो प्रचोदयात्।
चंद्रमा का पौराणिक मंत्र :
दधिशंखतुषाराभं क्षीरोदार्णव सम्भवम। नमामि शशिनं सोमं शंभोर्मुकुट भूषणं ।।
चंद्रमा को अर्घ्य देने का मंत्र :
एहि चन्द्र सहस्त्रांशो तेजोराशे जगत्पते ।
अनुकम्प्यम माम देव ग्रहाण अर्घ्यम सुधाकर:।।
सुधाकर नमस्तुभ्यम निशाकर नमोस्तुते।।
चंद्रमा का बीज मंत्र :
ॐ श्रीं श्रीं श्रौं सः चन्द्राय नमः
चन्द्रमा का दान :
चावल, कपूर, जल , श्वेत वस्त्र,दही सफेद चन्द श्वेत पुष्प, चीनी, चाँदी, शंख, वंशपात्र, बैल,
image credit : unsplash
चंद्रमा को बलवान करने का उपाय :
चन्द्रमा को बलवान करने के लिए 2 मुखी रुद्राक्ष सोमवार को माँ के हाथों से धारण करना लाभदायक होता है। 2 मुखी रुद्राक्ष धारण करते समय इस मंत्र का जाप करें :
ॐ नमः।
ॐ श्रीं ह्रीं क्षौं व्रीं।।
टेक्निकल ज्ञान : इंटरनेट कितने प्रकार का होता है a 2 z complete information
Chandra 108 names in Hindi
चंद्रमा के 108 नाम
1:–> ॐ श्रीमते नमः।
2:–> ॐ शशधराय नमः।
3:–> ॐ चन्द्राय नमः।
4:–> ॐ ताराधीशाय नमः।
5:–> ॐ निशाकराय नमः।
6:–> ॐ सुधानिधये नमः।
7:–> ॐ सदाराध्याय नमः।
8:–> ॐ सत्पतये नमः।
9:–> ॐ साधुपूजिताय नमः।
10:–> ॐ जितेन्द्रियाय नमः।
11.ॐ जयोद्योगाय नमः।
12:–> ॐ ज्योतिश्चक्रप्रवर्तकाय नमः।
13:–> ॐ विकर्तनानुजाय नमः।
14:–> ॐ वीराय नमः।
15:–> ॐ विश्वेशाय नमः।
16:–> ॐ विदुषां पतये नमः।
17:–> ॐ दोषाकराय नमः।
18:–> ॐ दुष्टदूराय नमः।
19:–> ॐ पुष्टिमते नमः।
20:–> ॐ शिष्टपालकाय नमः।
21:–> ॐ अष्टमूर्तिप्रियाय नमः।
22:–> ॐ अनन्ताय नमः।
23:–> ॐ कष्टदारुकुठारकाय नमः।
24:–> ॐ स्वप्रकाशाय नमः।
25:–> ॐ प्रकाशात्मने नमः।
26:–> ॐ द्युचराय नमः।
27:–> ॐ देवभोजनाय नमः।
28:–> ॐ कलाधराय नमः।
29:–> ॐ कालहेतवे नमः।
30:–> ॐ कामकृते नमः।
31:–> ॐ कामदायकाय नमः।
32:–> ॐ मृत्युसंहारकाय नमः।
33:–> ॐ अमर्त्याय नमः।
34:–> ॐ नित्यानुष्ठानदाय नमः।
35:–> ॐ क्षपाकराय नमः।
36:–> ॐ क्षीणपापाय नमः।
37:–> ॐ क्षयवृद्धिसमन्विताय नमः।
38:–> ॐ जैवातृकाय नमः।
39:–> ॐ शुचये नमः।
40:–> ॐ शुभ्राय नमः।
41:–> ॐ जयिने नमः।
42:–> ॐ जयफलप्रदाय नमः।
43:–> ॐ सुधामयाय नमः।
44:–> ॐ सुरस्वामिने नमः।
45:–> ॐ भक्तानामिष्टदायकाय नमः।
46:–> ॐ भुक्तिदाय नमः।
47:–> ॐ मुक्तिदाय नमः।
48:–> ॐ भद्राय नमः।
49:–> ॐ भक्तदारिद्र्यभंजनाय नमः।
50:–> ॐ सामगानप्रियाय नमः।
51:–> ॐ सर्वरक्षकाय नमः।
52:–> ॐ सागरोद्भवाय नमः।
53:–> ॐ भयान्तकृते नमः।
54:–> ॐ भक्तिगम्याय नमः।
55:–> ॐ भवबन्धविमोचकाय नमः।
56:–> ॐ जगत्प्रकाशकिरणाय नमः।
57:–> ॐ जगदानन्दकारणाय नमः।
58:–> ॐ निस्सपत्नाय नमः।
59:–> ॐ निराहाराय नमः।
60:–> ॐ निर्विकाराय नमः।
61:–> ॐ निरामयाय नमः।
62:–> ॐ भूच्छायाच्छादिताय नमः।
63:–> ॐ भव्याय नमः।
64:–> ॐ भुवनप्रतिपालकाय नमः।
65:–> ॐ सकलार्तिहराय नमः।
66:–> ॐ सौम्यजनकाय नमः।
67:–> ॐ साधुवन्दिताय नमः।
68:–> ॐ सर्वागमज्ञाय नमः।
69:–> ॐ सर्वज्ञाय नमः।
70:–> ॐ सनकादिमुनिस्तुताय नमः।
71:–> ॐ सितच्छत्रध्वजोपेताय नमः।
72:–> ॐ सितांगाय नमः।
73:–> ॐ सितभूषणाय नमः।
74:–> ॐ श्वेतमाल्याम्बरधराय नमः।
75:–> ॐ श्वेतगन्धानुलेपनाय नमः।
76:–> ॐ दशाश्वरथसंरूढाय नमः।
77:–> ॐ दण्डपाणये नमः।
78:–> ॐ धनुर्धराय नमः।
79:–> ॐ कुन्दपुष्पोज्ज्वलाकाराय नमः।
80:–> ॐ नयनाब्जसमुद्भवाय नमः।
81:–> ॐ आत्रेयगोत्रजाय नमः।
82:–> ॐ अत्यन्तविनयाय नमः।
83:–> ॐ प्रियदायकाय नमः।
84:–> ॐ करुणारससम्पूर्णाय नमः।
85:–> ॐ कर्कटप्रभवे नमः।
86:–> ॐ अव्ययाय नमः।
87:–> ॐ चतुरश्रासनारूढाय नमः।
88:–> ॐ चतुराय नमः।
89:–> ॐ दिव्यवाहनाय नमः।
90:–> ॐ विवस्वन्मण्डलाज्ञेयवासाय नमः।
91:–> ॐ वसुसमृद्धिदाय नमः।
92:–> ॐ महेश्वरप्रियाय नमः।
93:–> ॐ दान्ताय नमः।
94:–> ॐ मेरुगोत्रप्रदक्षिणाय नमः।
95:–> ॐ ग्रहमण्डलमध्यस्थाय नमः।
96:–> ॐ ग्रसितार्काय नमः।
97:–> ॐ ग्रहाधिपाय नमः।
98:–> ॐ द्विजराजाय नमः।
99:–> ॐ द्युतिलकाय नमः।
100:–> ॐ द्विभुजाय नमः।
101:–> ॐ द्विजपूजिताय नमः।
102:–> ॐ औदुम्बरनगावासाय नमः।
103:–> ॐ उदाराय नमः।
104:–> ॐ रोहिणीपतये नमः।
105:–> ॐ नित्योदयाय नमः।
106:–> ॐ मुनिस्तुत्याय नमः।
107:–> ॐ नित्यानन्दफलप्रदाय नमः।
108:–> ॐ सकलाह्लादनकराय नमः।
अन्य देवताओं की आरती के लिए : यहाँ click करें